Monday, February 24, 2025

सैम पित्रोदा के बयान से साफ, राहुल गांधी चीन के एजेंट : प्रदीप भंडारी


नई दिल्ली, 17 फरवरी (आईएएनएस)। भारतीय जनता पार्टी के प्रवक्ता प्रदीप भंडारी ने राहुल गांधी को ‘चीनी एजेंट’ बताया है। पित्रोदा ने आईएएनएस से एक्सक्लूसिव बातचीत में कहा कि चीन को लेकर भारत को अपनी मानसिकता बदलने की जरूरत है और यह धारणा छोड़ने की आवश्यकता है कि वह हमारा दुश्मन है।

भाजपा प्रवक्ता प्रदीप भंडारी ने आईएएनएस से बात करते हुए कहा, “कांग्रेस पार्टी, राहुल गांधी, जॉर्ज सोरोस- चीन के एजेंट के रूप में कार्य करते हैं। साल 2008 का गुप्त एमओयू जो कम्युनिस्ट पार्टी ऑफ चाइना और कांग्रेस पार्टी के बीच हुआ था, इसका उदाहरण है। उस गुप्त एमओयू को कांग्रेस पार्टी ने अभी तक सार्वजनिक नहीं किया है। डोकलाम विवाद के वक्त राहुल गांधी चोरी-चोरी चीन के राजदूत से मिल रहे थे।”

उन्होंने आगे कहा, “अपने संसद भवन के भाषण में राहुल गांधी ने 34 बार चीन का जिक्र किया। इतनी बार तो उन्होंने भारत का भी जिक्र नहीं किया था। सैम पित्रोदा का बयान यह स्पष्ट करता है कि राहुल गांधी और कांग्रेस पार्टी का चीन के प्रति सॉफ्ट कार्नर है। आज यह स्पष्ट हो चुका है कि राहुल गांधी और उनके हर करीबी का बयान एक ही पैटर्न पर आता है। आज राहुल गांधी को चीन, जॉर्ज सोरोस और डीप स्टेट के इंटरेस्ट के एजेंट के रूप में भारत की जनता देख रही है, न कि भारत के नेता प्रतिपक्ष के रूप में। इसलिए जब राष्ट्रीय सुरक्षा की बात आती है तो राहुल गांधी किसी विदेशी ताकत का पक्ष लेते हुए नजर आते हैं। या भारत की अखंडता या संप्रभुता पर सवाल उठाते दिखते हैं। राहुल गांधी के दाहिने हाथ के आदमी, सैम पित्रोदा के बयान से यह स्पष्ट हो गया है कि राहुल गांधी जॉर्ज सोरोस, डीप स्टेट और चीन के रिमोट कंट्रोल में हैं।”

बता दें कि आईएएनएस से बातचीत में पित्रोदा ने भारत-चीन संबंधों पर कहा कि भारत को अपनी मानसिकता बदलने की जरूरत है और यह धारणा छोड़ने की जरूरत है कि चीन दुश्मन है। सोचने का यह तरीका बदलना चाहिए, यह जरूरी नहीं कि हम हमेशा चीन को दुश्मन मानें और यह सिर्फ चीन के लिए नहीं बल्कि सभी के लिए होना चाहिए। मुझे नहीं पता कि चीन से क्या खतरा है। मुझे लगता है कि इस मुद्दे को अक्सर जरूरत से ज्यादा बढ़ा-चढ़ाकर पेश किया जाता है, क्योंकि अमेरिका को हमेशा दुश्मन की पहचान करनी होती है।

कांग्रेस नेता ने यह भी कहा कि अब सभी देशों को एक साथ आने का समय है। हमें सीखने, संवाद बढ़ाने, सहयोग करने और मिलकर काम करने की जरूरत है, हमें ‘कमांड और कंट्रोल’ की मानसिकता से बाहर निकलना होगा। चीन चारों ओर है… चीन बढ़ रहा है… हमें इसे पहचानना और समझना होगा।

–आईएएनएस

पीएसएम/केआर


Related Articles

Latest News